दोस्तों मेरा नाम रवि हैं मेरी उम्र 21 साल हुई हैं! दोस्तों मैं दिखने में ठीक ठाक हूँ कमजोर हूँ!
मैं क्लास का वो चूतिया बंदा हूँ जिसको सब परेशान करते थे! पर मेरी जिंदगी में ऐसे पल आ चुके हैं जिससे मैं खुदको बहुत खुशकिस्मत समझता हूँ!
कैसे ये कहानी में आपको पता चलेगा जो सब लोग मुझे चिढ़ाते थे वो क्लास की एक लड़की को अपनी बहन मानते थे!
मुझे नहीं पता कैसे वो लड़की मुझसे सेट हुई उसने मुझे कमरा बुक करने को कहा और हमारे बिच चुदाई हुई!
ये बात जब उन लोंडो को पता चली तो उनका मुँह सा बन गया क्युकी अब वो मुझे परेशान भी नहीं कर सकते और मैं उनका मुँह बोला जीजू हूँ!
नहीं नहीं इस बात के लिए खुदको खुशकिस्मत नहीं समझता बल्कि बात आपको कहानी पढ़कर पता चलेगी!
दोस्तों मेरा भाई का काम कुछ ऐसा हैं की वो ज़्यदातर समय शहर से बहार रहता हैं!
मेरी भाई की नई नई शादी हुई थी तो जो भाभी आयी थी वो मॉडर्न भाभी सेक्स स्टोरी थी एकदम सुंदर जवान!
मैं अपने भाई को बहुत लकी समझता था की उसे ऐसी बीवी मिली वो बहुत खुल्ले विचारो की थी!
मैंने भाई और भाभी को दो बार सेक्स करते हुए देखा हैं! भाभी पूरी नंगी थी उनका फिगर पूरा मॉडल जैसा हैं बिलकुल मस्त!
गोल बड़े मस्त चुच्चे थे पतला पेट मस्त कमर और मोटी गांड मजा आ गया बिलकुल हीरोइन जैसे!
तो कहानी शुरू तब हुई जब मेरा स्कूल वाली बंदी से ब्रेकअप हो गया!
अब मैं अकेला पड़ गया था हर समय उदास रहता था मैं सोचने लगा था की सबसे बड़ा हारा हुआ बंदा हूँ!
ये बात भाभी को पता चली उन्होंने मुझे बहुत समझाया और सपोर्ट किया पर आखिर वो मेरी भाभी थी मैं उनके जैसी लड़की चाहता था!
मुझमे बस एक बात खास थी वो मेरा लंड जो की 8 इंच का हैं पर दुःख की बात ये हैं की जब कोई लड़की मुझे देखकर पटेगी ही नहीं तो लंड कहा से दिखाऊ!
पहली बंदी बहुत सही थी उसकी बहुत चुदाई करी पर अब उसे स्मार्ट लड़के चाहिए तो वो चली गयी!
एक दिन घर पर कोई नहीं था सब गए थे भाभी को आने में समंय था तो मैंने सोचा जबतक कोई नहीं आता तब तक मुठ मारली जाए!
मैं कमरे में नंगा होकर मुठ मार रहा था तो मजे नहीं आ रहे थे मुझे बाथरूम में भाभी की नई ली हुई पैंटी याद आ गयी!
मैंने बाथरूम से वो पैंटी उठायी और याद आया भाभी ने वो कल ही पहनी थी और सुबह जल्दी बाजी में धोना भूल गयी थी!
मैंने जैसे ही भाभी की कच्छी मैंने संगी ओहो अलग ही खुसबू आ रही जैसे चूत सुंग रहा हूँ!
मेरा दिमाग खराब हो गया और मैं उस पैंटी को लेकर कमरे में जाकर मुठ मारने लगा मेरा सारा वीर्य निकल गया भाभी की पैंटी पर और तभी दरवाजे पर भाभी आ गयी!
मैंने घबरा कर बाथरूम में पैंटी फेंकी और कपड़े पहन कर दरवाजा खोल दिया!
भाभी ने तुरंत मुझे एक गिलास पानी लाने को कहा लेकिन मैं उनके सामने पहले साबुन से हाथ धोने लगा!
वो बोली वाशरूम गए थे क्या मैंने कहा हां और फिर मैं एक गिलास पानी ले आया!
भाभी ने कहा अरे यार मैं एक सामान लाना भूल गयी दुकान पर ही रखा होगा वो तुम ले आओ प्लीज जल्दी वरना वो लंच टाइम में बंद कर देगा!
मैंने कहा मुझे गर्मी लग रही है पहले नहा लेता हूँ भाभी ने कहा नहीं नहीं ले प्लीज!
मैं समज नहीं पा रहा था की क्या करू और मुँह उठाकर मैं सामान लेने चला गया!
सामान लेकर वापिस आ रहा था दोस्त मिल गया साला वैसे कोई आता नहीं आज सारे रस्ते में टपक गए!
जैसे तैसे घर की तरफ आया लेकिन बहुत ज्यादा लेट फिर घर पहुंचा देखा भाभी बाथरूम में कपड़े धो रही थी!
मेरी गांड फट गयी की अब क्या होगा इतने में भाभी ने आवाज लगाई सामान किचन में रख दो मैं 10 मिनट में सुबह के कपड़े धोकर आती हूँ!
मैंने भाभी बोला की आप रहने दो मैं धो दूंगा पर उन्होंने मेरी नहीं सुनी!
अब तो बहुत देर हो चुकी थी भाभी 10 मिंट बाद बहार निकली कपड़े धोकर उनके हाथ में वो पैंटी थी जिसमे मैंने झाड़ा था!
मेरा तो दिमाग खराब हो गया था की अब क्या करू?
थोड़ी देर बाद भाभी ने मुझे बुलाया और साथ में खाने को कहा!
हम साथ में खाना खा रहे थे भाभी ने तुरंत पूछा क्या मैं तुम्हे अच्छी लगती हूँ?
मैंने कहा मतलब? उन्होंने कहा मैं तुम्हे अच्छी लगती हूँ?
मैंने हड़बड़ा कहा हां नहीं नहीं ऐसा नहीं हैं कुछ पर ऐसा क्यों पूछा?
भाभी बहुत खुलकर बोलती थी तो उन्होंने साफ़ बोला की मेरी पैंटी पर जो गिरा था इसीलिए पूछा!
आगे भाभी की चुदाई भाग 2 में पढ़े!